जीजेएससीआई ने वल्र्ड स्कील कंपिटिशन में भाग लेने वाले प्रत्याशियों को प्रशिक्षित करने के लिए पराग व्यास को नियुक्त किया

जेम एंड ज्वैलरी स्कील काऊंसिल ऑफ इंडिया (जीजेएससीआई) के चेयरमैन श्री प्रेमकुमार कोठारी ने इंदौर स्थित ग्राउ बार डिजाइन के प्रमुख पराग व्यास को उनकी उत्कृष्टता के लिए सेंटर ऑफ एक्सीलेंस प्रमाणपत्र से सम्मानित किया। श्री व्यास को उनकी विशेषज्ञता को देखते हुए वल्र्ड स्कील कंपिटिशन में भाग लेने वाले उम्मीदवारों को प्रशिक्षित करने के लिए नियुक्त किया गया है। श्री पराग व्यास एक प्रमाणित यमास्टर ट्रेनर हैं।

श्री व्यार के साथ हुए करार की मुख्य विशेषताएं इस प्रकार हैं:

  1. श्री पराग व्यास और जीजेएससीआई के बीच हुए समझौते के मुताबिक श्री व्यास प्रत्याशियों को प्रशिक्षण देंगे। इन प्रत्याशियों का चयन जीजेएससीआई की तकनीकी समिति द्वारा चयनित किया गया है। इन प्रत्याशियों को आगामी वल्र्ड स्कील प्रतियोगिता, अबू धाबी, २०१७, कज़ान, वल्र्ड स्कील प्रतियोगिता २०१९ और वल्र्ड स्कील प्रतियोगिता २०२१ के लिए प्रशिक्षित किया जाएगा।

    वर्तमान में ४ प्रत्याशियों को प्रशिक्षित किया जा रहा है। इन चारों में से दो अबू धाबी में २०१७ में होने वाले वल्र्ड स्कील प्रतियोगिता के लिए चुना जाएगा और अन्य २ प्रत्याशियों को २०१९ मे होने वाले वल्र्ड स्कील प्रतियोगिता के लिए प्रशिक्षित किया जाएगा।

  2. आगामी २०२१ के बाद होने वाले वल्र्ड स्कील प्रतियोगिताओं के लिए प्रत्याशियों को प्रशिक्षित करने हेतु एक भावी योजना तैयार की गई है। श्री पराग व्यास के मेंटरशिप में ४ प्रत्याशियों को विशेष ट्रेनिग के लिए चुना जाएगा तथा इसकी देखरेख जीजेएससीआई के अंतर्गत होगी।

  3. श्री पराग व्यास को वल्र्ड स्कील प्रतियोगिता में भाग लेने वालों के लिए एक पुस्तिका और प्रशिक्षण वीडियो तैयार करने को कहा गया है जो पूरे देश के सभी बड़े इंस्टिट्यूट्स और मैन्युफैक्चरिंग युनिट्स में ट्रेनिग का एक व्यापक भाग होंगे।

  4. जीजेएससीआई हर साल २५ मास्टर ट्रेनर्स की क्षमता वाले ट्रेन दि ट्रेनर इंस्टिट्यूट्स स्थापित करने के लिए श्री पराग व्यास को समर्थन देने का आह्वान किया है।

  5. वल्र्ड स्कील प्रतियोगिताओं के लिए एक विशेष पाठ्यक्रम विकसित किया जाएगा जिससे कि प्रत्याशी अपने स्कील और नॉलेज का प्रभावी ढंग से इस्तेमाल करके क्वालिटी प्रशिक्षण प्राप्त कर सकें। वे अपने कौशल और ज्ञान का उपयोग करके जेम्स एंड ज्वैलरी इंडस्ट्री के अन्य संस्थआनों के प्रत्याशियों को भी वे प्रशिक्षण प्रदान करने के लिए इन कौशल का उपयोग करेगा। वे इंडस्ट्री में जा सकते हैं और उनके इन-हाउस सुपरवाइजरों को भी प्रशिक्षित कर सकते हैं।

  6. श्री पराग व्यास कस्टोमाइज्ड टूल्स को विकसित करने के लिए रिसर्च करेंगे जो भारत में पारंपरिक ज्वैलरी के प्रभावी और गुणवत्ता उत्पादन के लिए फायदेमंद होगा।

  7. कारीगरों के जीवन काल को दीर्घायु बनाने के मामले में भारतीय पारंपरिक आभूषणों के उत्पादन में शामिल भारतीय कारीगरों के लिए एक पुस्तिका तैयार करना फायदेमंद होगा।