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वर्चुअल अलुमिनी गेस्ट सेशन का आयोजन किया डिसरप्शंस-आर वी प्रीपेयर्ड? विषय के इस सेशंन में भारी संख्या में छात्रों ने हिस्सा लिया |
सत्र की शुरुआत जीआईए इंडिया के प्रबंध निदेशक श्रीराम नटराजन द्वारा मनुज गोयल के परिचय के साथ हुई। एक वाणिज्य स्नातक और जीआईए ग्रेजुएट जेमोलॉजिस्ट® के डिप्लोमा धारक श्री गोयल इंडस्ट्री के एक दिग्गज और टेक्नोलोजी के प्रति उत्साही व्यक्तित्व हैं। श्री गोयल ने अपने प्रेजेंटेशन में बिजनेस के विभिन्न व्यवधानों के बारे में चर्चा की कि कैसे वर्तमान माहौल में बिजनेस मॉडल और बिजनेसेस को समय के अनुसार बदला जा सकता है। उन्होंने कुछ दिलचस्प सवाल पूछे जैसे बिजनेस में व्यवधान कहां से आता है, आपके विचार क्या आकार ले रहे हैं, अगले 10 वर्षों में क्या चला जा सकता है, और कई वास्तविक जीवन के उदाहरणों की मदद से जीत की रणनीतियों' को स्पष्ट किया।
जीआईए अलुमिनी एसोसिएशन का मिशन निरंतर नेटवर्किंग के माध्यम से जीआईए के पूर्व छात्रों तक पहुंचना, उनकी सहायता करना और उन्हें जीआईए अलुमिनी में शामिल करके आजीवन संबंधों को प्रोत्साहित करना और सतत शिक्षा के अवसर प्रदान करना है। जीआईए के दुनिया भर में 65 चैप्टर्स में 135,000 से ज्यादा पूर्व छात्र हैं। वर्ष 2020 में, जीआईए इंडिया ने दो वर्चुअल अलुमिनी गेस्ट सेशंस का आयोजन किया जिसके पहला सेशन सी. कृष्णैया चेट्टी (सीकेसी) ज्वैलर्स के समूह के प्रबंध निदेशक औऱ निदेशक डॉ विनोद हयाग्रीव और दूसरा सेशन जीआईए के रिसर्च एवं डेवलपमेंट विभाग के उपाध्यक्ष डॉ वूई वांग के साथ हुआ। दोनों गेस्ट ने प्रासंगिक विषयों पर चर्चा की और इनके सेशंस में भारत के सभी हिस्सों से उत्साही अलुमिनी ने भारी संख्या में हिस्सा लिया। श्रीराम नटराजन ने कहा कि जीआईए इंडिया द्वारा इस तरह के वर्चुअल अलुमिनी गेस्ट सेशंस का आयोजन जीआईए के पूर्व छात्रों के लिए संबंधित क्षेत्रों के विशेषज्ञों से सीखने और एक-दूसरे से जुड़ने के लिए एक बेहतरीन मंच का काम करते हैं। मैं श्री गोयल का आभारी हूं कि उन्होंने आज के समय के अत्यंत प्रासंगिक विषय पर हमारे पूर्व छात्रों अपने इंसाइट्स को साझा किया। मैं जीआईए के पूर्व छात्रों के नेटवर्क - विशेष रूप से इंडिया चैप्टर्स को - जीआईए के सतत शिक्षा सेमिनारों से जुड़े रहने और संलग्न रहने के लिए प्रोत्साहित करता हूं। जीआईए इंडिया लेबोरेटरी प्राइवेट लिमिटेड (जीआईए इंडिया) जेमोलॉजिकल इंस्टीट्यूट ऑफ अमेरिका, इंक (जीआईए) की एक स्वतंत्र सहायक कंपनी है। वर्ष 1931 में इसे स्थापित किया गया। जीआईए को जेमोलॉजी की दुनिया का एक अग्रणी ऑथोरिटी के रूप में मान्यता प्राप्त है। जीआईए ने कलर, क्लारिटी, कट और कैरेट वजन के प्रसिद्ध 4सी का आविष्कार किया और वर्ष 1953 में, अंतर्राष्ट्रीय डायमंड ग्रेडिंग सिस्टम बनाया, जिसे दुनिया भर में हीरे की गुणवत्ता के मानक के रूप में मान्यता प्राप्त है। रिसर्च, शिक्षा, जेमोलॉजिकल लैबोरेटरी सेवाओं और इंस्ट्रूमेंट डेवलपमेंट के माध्यम से यह संस्थान सत्यनिष्ठा, शिक्षाविदों, विज्ञान और प्रोफेशनलिज्म के उच्चतम मानकों को कायम रखते हुए जेम्स एवं ज्वेलरी में लोगों के विश्वास को सुनिश्चित करने के लिए समर्पित है। जीआईए की सभी गतिविधियाँ लोगों की सेवा करना और मिशन को प्राप्त करना है। अधिक जानकारी के लिए GIA.edu या GIAindia.in पर जाएं।
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